इंदौर  ।  शुक्रवार को इंदौर के आधे से ज्यादा हिस्से में जलापूर्ति नहीं होगी। इससे कम से कम 12 लाख जनता सीधे-सीधे प्रभावित होगी। पशु चिकित्सालय महू परिसर में नर्मदा के प्रथम और द्वितीय चरण की पाइपलाइन में लीकेज की वजह से यह स्थित बनी है। लीकेज सुधारने के लिए गुरुवार सुबह शटडाउन लेकर काम शुरू किया गया था, लेकिन काम के दौरान पता चला कि जिस जगह लीकेज है, वहां पूरी पाइपलाइन ही बदलना पड़ेगी। इसके चलते काम लंबा हो गया। अब यह काम शुक्रवार दोपहर बाद तक पूरा हो सकेगा। इसके चलते गुरुवार को शहर की 17 टंकियां नहीं भरी जा सकी। शुक्रवार को इन 17 टंकियों से जुड़े क्षेत्रों में जलापूर्ति नहीं होगी। ये सभी टंकियां पश्चिम क्षेत्र की है। यानी शुक्रवार को इंदौर की आधी से ज्यादा जनता को पानी के लिए भटकना पड़ेगा।

ये क्षेत्र होंगे प्रभावित

अन्नपूर्णा क्षेत्र, वैशाली नगर, विनय नगर, विश्वकर्मा नगर, केसरबाग रोड़, राज मोहल्ला, लाबरिया भेरू, हरिजन बस्ती, बियाबानी, भक्त प्रहलाद नगर, कंजर मोहल्ला, छत्रीबाग, छत्रीपुरा, महाराणा प्रताप नगर, संगम नगर, बाणगंगा क्षेत्र, कुम्हारखाड़ी, सांवेर रोड़ संपूर्ण, अगरबत्ती काम्प्लेक्स क्षेत्र, नरवल, पोलोग्राउंड, कुशवाह मोहल्ला, गोविंद नगर खारचा, सदर बाजार, नीलंकठ कालोनी, राधानगर, जूना रिसाला, सुभाष चौक, राजवाड़ा, खजूरी बाजार, मल्हारगंज संपूर्ण, लोकमान्य नगर, द्रविड़ नगर, जिंसी हाट मैदान, स्कीम 103 और इससे जुड़ी कालोनियां, मल्हार आश्रम क्षेत्र, रामबाग, भोई मोहल्ला, गांधी हॉल टंकी से जुड़ा क्षेत्र आदि।

निगम करेगा पानी की व्यवस्था

नगर निगम के जलकार्य समिति के प्रभारी अभिषेक शर्मा ने कहा कि टैंकरों की पर्याप्त उपलब्धता है। जहां भी शिकायत मिलेगी, हम पानी सप्लाई करेंगे। कोशिश रहेगी कि आमजन को परेशान न होना पड़े।

काम जल्द पूरा करने की कोशिश

नगर निगम केकार्यपालन यंत्री संजीव श्रीवास्तव का कहना है कि हमारी कोशिश है कि पाइप बदलने का काम जल्द से जल्द पूरा कर लिया जाए। हमारी टीम इस कार्य में सतत लगी है।

काम पूरा होने के बाद भी छह घंटे लगेंगे टंकी तक पानी पहुंचने में

शुक्रवार दोपहर पाइपलाइन बदलने का काम पूरा होने के बाद भी नर्मदा जल टंकियों तक पहुंचने में कम से कम छह घंटे लगेंगे। गुरुवार को पता चला था कि पाइपलाइन में तीन बड़े लीकेज हैं। सुधार कार्य में लगे दल ने गुरुवार शाम तक दो लीकेज ठीक कर दिए थे। इसके बाद उम्मीद थी कि शुक्रवार सुबह कम दबाव से जलापूर्ति हो सकेगी, लेकिन गुरुवार शाम पता चला कि पूरी पाइपलाइन ही बदलना पड़ेगी। यह काम शुक्रवार दोपहर बाद तक ही पूरा हो सकेगा। यानी टंकियों तक शुक्रवार रात तक ही पानी पहुंच सकेगा।