सिवनीमालवा ।    जिले में स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर करने के लिए प्रदेश सरकार लगातार प्रयास कर रही है तो वहीं जिला प्रशासन भी कोई कमी नहीं कर रहा है। इन सब प्रयासों के बावजूद भी जिले में स्वास्थ्य व्यवस्थाएं सुधरती नजर नहीं आ रही है। इतना ही नहीं अस्पताल में भर्ती होने वाले मरीजों की जान से भी खिलवाड़ किया जा रहा है। एक ऐसा ही मामला सोमवार को सिवनीमालवा सरकारी अस्पताल में सामने आया है,जहां बीमार बच्ची को एक्सपायरी डेट की बाटल चढ़ा दी गई। बच्ची के स्वजन की नजर जब बाटल पर चिपकी पर्ची पर गई तो उनके होश उड़ गए। बाटल एक्सपायरी डेट की थी। मामला सामने आने के बाद हड़कंप मच गया। बीमार बच्ची के स्वजन ने स्वस्थ्य विभाग के आला अधिकारियों को सूचना दी। मौके पर पहुंचे डाक्टर ने तुरंत ही बाटल को बदला। मामले को लेकर ड्यूटी डाक्टर ऋषि साहू का कहना था कि बाटल पर मिस प्रिंट होने के कारण एक्सपायरी डेट नर्स नहीं देख सकी। जिला मुख्यालय तक घटनाक्रम की जानकारी पहुंची है। वरिष्ठ अधिकारी जांच की बात कह रहे हैं।

दस्त से पीड़ित बच्ची को लेकर थे स्वजन

बच्ची के स्वजन दस्त होने के करण नगर के भीमराव आंबेडकर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे थे। यहां डाक्टर व नर्सिंग स्टाफ ने लापरवाही बरतते हुए एक्सपायरी डेट की बाटल लगा दी। मरीज के स्वजन ने आरोप लगाया है कि बिना देख पढ़े बाटल को चढ़ाया गया। बच्ची की तबीयत खराब है इसके बावजूद उसका इलाज ठीक से नहीं किया गया। भर्ती करने के बाद सीधे एक्सपायरी डेट की ड्रिप लगा दी गई। यदि ड्रिप की बाटल की डेट पर नजर नहीं जाती तो परेशानी बढ़ने की संभावना भी थी।

नर्स ने बाटल निकालकर फेंकी

रवि बाथव ने बताया कि मेरी बच्ची को दस्त हो रहे थे। सरकारी अस्पताल में इलाज के लिए लेकर आए थे, लेकिन यहां लापरवाही मरीज के साथ बरती जा रही है। उन्होंने बताया कि मेरी जैसे ही बाटल पर नजर गई तो उस पर 11-2022 लिखा हुआ था। तब तक आधी से ज्यादा बाटल लग चुकी थी। हमने स्टाफ से एक्सपायरी डेट की बाटल लगाए जाने की बात कही तो नर्स ने बाटल पर लगे स्टीकर को हाथों से खुरच दिया और बाटल निकाल दी। मैं नहीं देखता तो यही बाटल लगा दी जाती। मेरी बच्ची को कुछ हो जाता तो इसका जिम्मेदार कौन होता। अस्पताल में बरती गई लापरवाही की जानकारी लगने के बाद बीएमओ ने सीएमएचओ को पत्र लिखकर पूरी जानकारी दी है।

ड्यूटी डाक्टर की सफाई, नर्स को अच्छे से नहीं दिखता

बच्ची के इलाज में बरती गई लापरवाही को लेकर जब ड्यूटी डाक्टर ऋषि साहू से चर्चा की गई तो उनका कहना था कि बच्ची को दस्त की शिकायत थी। परीक्षण करने के बाद मैंने मरीज को बाटल लगाने के लिए स्टाफ नर्स को बोला था। नर्स को समझ नहीं आया और उन्होंने बाटल लगा दीं। जिन्होंने बाटल लगाई थी उनकी उम्र ज्यादा है और अच्छे से दिखता भी नहीं है जिसके चलते ऐसा हो गया। बच्ची का उपचार अच्छे से किया गया है।

इनका कहना है

अस्पताल में भर्ती मरीज के इलाज के दौरान एक्सपायरी डेट की बाटल लगाने की बात सामने आई है। इस संबंध में नर्सिंग स्टाफ की लापरवाही सामने आ रही है। जिसे देखते हुए स्टाफ नर्स को तत्काल हटाने के लिए सीएमएचओ को पत्र लिखा गया है। लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मिलें इसके लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं।

- जय सिंह कुशवाह, बीएमओ, सिवनीमालवा